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Jharkhand:-झारखंड विश्वविद्यालय एवं महाविद्यालय कर्मचारी महासंघ के प्रतिनिधिमंडल ने रविवार को झारखंड के उच्च एवं तकनीकी शिक्षा मंत्री रामदास सोरेन से मुलाकात की। इस दौरान महासंघ ने राज्य के विश्वविद्यालयों और कॉलेजों में कार्यरत शिक्षकेतर कर्मचारियों की लंबित समस्याओं और मांगों को रखा।
महासंघ ने मंत्री को एक मांगपत्र सौंपते हुए वेतन निर्धारण, सेवा निवृत्ति आयु और कर्मचारियों की नियुक्ति जैसे मुद्दों पर शीघ्र समाधान की अपील की।
मांगपत्र में रखी गई मुख्य मांगे
महासंघ ने मंत्री से निम्नलिखित मुद्दों पर विचार करने की मांग की:
सातवें वेतनमान में वेतन निर्धारण: कई कर्मचारियों का वेतन सातवें पुनरीक्षित वेतनमान के अनुसार निर्धारित नहीं हुआ है। इसे शीघ्र लागू किया जाए।
ACP और MACP की सुविधा: विश्वविद्यालय और कॉलेज कर्मचारियों को राज्य सरकार के कर्मचारियों की तरह यह लाभ प्रदान किया जाए।
सेवा निवृत्ति आयु: पड़ोसी राज्यों और न्यायालय के आदेश के अनुरूप सेवानिवृत्ति की आयु 62 वर्ष की जाए।
रिक्त पदों पर नियुक्ति: सृजित पदों पर शीघ्र नियुक्तियां की जाएं ताकि मौजूदा कर्मचारियों पर कार्य का अत्यधिक भार कम हो सके।
प्रोन्नति नियमावली का कार्यान्वयन: नियुक्ति और प्रोन्नति से संबंधित नियमों को विश्वविद्यालय स्तर पर लागू करने की अनुमति दी जाए।
कर्मचारियों पर बढ़ते कार्यभार का मुद्दा
महासंघ ने यह भी बताया कि रिक्त पदों के कारण मौजूदा कर्मचारियों पर कार्य का अत्यधिक भार है। इसके बावजूद कर्मचारियों को कोई प्रोत्साहन राशि नहीं दी जा रही है।
प्रतिनिधिमंडल में शामिल अधिकारी
मुलाकात के दौरान महासंघ के प्रतिनिधिमंडल में उपाध्यक्ष मनोज किशार, जवील अख्तर, आरके मिश्रा, एस कुमार, संयुक्त सचिव बीपी शुक्ला, मनोज कुमार सिंह, राजेश कुमार, धनंजय कुमार, कोषाध्यक्ष अरुण कुमार और प्रवक्ता रितेश माधव व चंद्रदत्त कुमार शामिल थे।
शीघ्र समाधान की अपील
महासंघ ने मंत्री से अपील की कि इन चिरलंबित मांगों पर शीघ्रता से विचार कर कर्मचारियों को राहत प्रदान की जाए।
मुलाकात कर्मचारियों के लिए एक बड़ी उम्मीद लेकर आई है।