Jamshedpur : आरवीएस कॉलेज ऑफ इंजीनियरिंग एंड टेक्नोलॉजी (RVS College of Engineering and Technology, Jamshedpur) ने मलेशिया (Malaysia) स्थित इंफ्रास्ट्रक्चर यूनिवर्सिटी कुआलालंपुर (IUKL Kuala Lumpur) के साथ एक महत्वपूर्ण मेमोरंडम ऑफ अंडरस्टैंडिंग (एमओयू) पर हस्ताक्षर किए हैं। इस एमओयू का उद्देश्य दोनों संस्थानों के बीच शिक्षा, अनुसंधान और सांस्कृतिक सहयोग को बढ़ावा देना है। IUKL के डीन और स्नातकोत्तर कार्यक्रम के अध्यक्ष डॉ. टादिवा एलीसा नियामासविस्या ने आईयूकेएल विश्वविद्यालय के प्रेसिडेंट डॉ. नूर इनायह बिंती याञकुब द्वारा हस्ताक्षरित एमओयू दस्तावेज़ आरवीएस कॉलेज ऑफ इंजीनियरिंग के चेयरमैन बिन्दा सिंह को सौंपा।
समारोह में महत्वपूर्ण उपस्थिति: इस अवसर पर आरवीएस एजुकेशनल ट्रस्ट के कोषाध्यक्ष शत्रुघ्न सिंह, कॉलेज के प्राचार्य प्रो. (डॉ.) राजेश कुमार तिवारी, ट्रेनिंग और प्लेसमेंट संकाय के अध्यक्ष डॉ. विक्रम शर्मा, प्रशासनिक डीन प्रो. कृष्ण मुरारी, अकादमिक डीन डॉ. शरत चंद्र महतो सहित विभिन्न विभागों के प्रमुख, शिक्षकगण और छात्र-छात्राएं उपस्थित थे।
शैक्षणिक और सांस्कृतिक सहयोग: आरवीएस एजुकेशनल ट्रस्ट के चेयरमैन बिन्दा सिंह ने डॉ. टादिवा को शॉल और स्मृति चिन्ह भेंट कर सम्मानित किया। डॉ. टादिवा ने IUKL विश्वविद्यालय की शिक्षा पद्धति और मलेशिया के विकास में उसके योगदान पर प्रकाश डाला। उन्होंने विशेष रूप से सिविल इंजीनियरिंग, सूचना प्रौद्योगिकी और अंतरराष्ट्रीय सांस्कृतिक संबंधों के क्षेत्रों में विश्वविद्यालय की महत्वपूर्ण भूमिका का उल्लेख किया।
दोनों संस्थानों के बीच हुए इस एमओयू के तहत कई महत्वपूर्ण पहलुओं पर सहमति बनी। इनमें रिसर्च पेपर्स के प्रकाशन, पुस्तक प्रकाशन, और ऑनलाइन शिक्षण के क्षेत्र में सहयोग शामिल है। दोनों संस्थान फैकल्टी डेवेलपमेंट प्रोग्राम (FDP) के आयोजन में भी एक-दूसरे का सहयोग करेंगे। इसके अतिरिक्त, सांस्कृतिक और द्विपक्षीय संबंधों को बढ़ावा देने के लिए भी काम किया जाएगा।
शैक्षणिक विकास में मील का पत्थर: एमओयू को लेकर कॉलेज के कोषाध्यक्ष शत्रुघ्न सिंह ने कहा, “भारत और मलेशिया के सांस्कृतिक संबंध सैकड़ों साल पुराने हैं, लेकिन इस एमओयू से शैक्षणिक क्षेत्र में हमारा संबंध और गहरा होगा।” कार्यक्रम का संचालन डॉ. विक्रम शर्मा ने किया और धन्यवाद ज्ञापन कंप्यूटर साइंस इंजीनियरिंग विभाग की प्रो. स्मिता दास ने किया। यह एमओयू दोनों देशों के शैक्षणिक और सांस्कृतिक संबंधों को मजबूती प्रदान करेगा, जिससे दोनों संस्थान वैश्विक स्तर पर शैक्षणिक विकास में योगदान देंगे।
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